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हरे राम हरे राम राम राम हरे हरे। हरे कृष्ण हरे कृष्ण कृष्ण कृष्ण हरे हरे॥ हे नाथ मैँ आपको भूलूँ नही...!! हे नाथ ! आप मेरे हृदय मेँ ऐसी आग लगा देँ कि आपकी प्रीति के बिना मै जी न सकूँ.

Thursday, May 2, 2013

शिव पंचाक्षर स्त्रोत शिवमानसपूजा


शिव पंचाक्षर स्त्रोत
नागेंद्रहाराय त्रिलोचनाय भस्मांग रागाय महेश्वराय|
नित्याय शुद्धाय दिगंबराय तस्मे "न" काराय नमः शिवायः॥
हे महेश्वर! आप नागराज को हार स्वरूप धारण करने वाले हैं। हे (तीन नेत्रों वाले) त्रिलोचन आप भष्म से अलंकृत, नित्य (अनादि एवं अनंत) एवं शुद्ध हैं। अम्बर को वस्त्र सामान धारण करने वाले दिग्म्बर शिव, आपके न् अक्षर द्वारा जाने वाले स्वरूप को नमस्कार ।
मंदाकिनी सलिल चंदन चर्चिताय नंदीश्वर प्रमथनाथ महेश्वराय|
मंदारपुष्प बहुपुष्प सुपूजिताय तस्मे "म" काराय नमः शिवायः॥
चन्दन से अलंकृत, एवं गंगा की धारा द्वारा शोभायमान नन्दीश्वर एवं प्रमथनाथ के स्वामी महेश्वर आप सदा मन्दार पर्वत एवं बहुदा अन्य स्रोतों से प्राप्त्य पुष्पों द्वारा पुजित हैं। हे म् स्वरूप धारी शिव, आपको नमन है।

शिवाय गौरी वदनाब्जवृंद सूर्याय दक्षाध्वरनाशकाय|
श्री नीलकंठाय वृषभद्धजाय तस्मै "शि" काराय नमः शिवायः॥
हे धर्म ध्वज धारी, नीलकण्ठ, शि अक्षर द्वारा जाने जाने वाले महाप्रभु, आपने ही दक्ष के दम्भ यज्ञ का विनाश किया था। माँ गौरी के कमल मुख को सूर्य सामान तेज प्रदान करने वाले शिव, आपको नमस्कार है।

वषिष्ठ कुभोदव गौतमाय मुनींद्र देवार्चित शेखराय|
चंद्रार्क वैश्वानर लोचनाय तस्मै "व" काराय नमः शिवायः॥
देवगणो एवं वषिष्ठ, अगस्त्य, गौतम आदि मुनियों द्वार पुजित देवाधिदेव! सूर्य, चन्द्रमा एवं अग्नि आपके तीन नेत्र सामन हैं। हे शिव आपके व् अक्षर द्वारा विदित स्वरूप कोअ नमस्कार है।

यज्ञस्वरूपाय जटाधराय पिनाकस्ताय सनातनाय|
दिव्याय देवाय दिगंबराय तस्मै "य" काराय नमः शिवायः॥
हे यज्ञस्वरूप, जटाधारी शिव आप आदि, मध्य एवं अंत रहित सनातन हैं। हे दिव्य अम्बर धारी शिव आपके शि अक्षर द्वारा जाने जाने वाले स्वरूप को नमस्कारा  है।

पंचाक्षरमिदं पुण्यं यः पठेत शिव सन्निधौ|
शिवलोकं वाप्नोति शिवेन सह मोदते॥
जो कोई शिव के इस पंचाक्षर मंत्र का नित्य ध्यान करता है वह शिव के पून्य लोक को प्राप्त करता है तथा शिव के साथ सुख पुर्वक निवास करता है।
शिवमानसपूजा
आदि गुरू शंकराचार्य द्वारा रचित शिव मानस पूजा शिव की एक अनुठी स्तुति है। इस स्तुति में हम प्रभू को भक्ति द्वारा मानसिक रूप से तैयार की हुई वस्तुएं समर्पित करते हैं। हम उन्हे रत्न जडित सिहांसन पर आसिन करते हैं, वस्त्र, भोज तथा भक्ति अर्पण करते हैं; पर ये सभी हम भोतिक स्वरूप में अपितु मानसिक रूप में करते हैं। इस प्रकार हम स्वयं को शिव को शिव को समर्पित कर शिव स्वरूप में विलिन हो जाते हैं।

रत्नैः कल्पितमासनं हिमजलैः स्नानं च दिव्याम्बरं
नानारत्नविभूषितं मृगमदामोदाङ्कितं चन्दनम्
जातीचम्पकबिल्वपत्ररचितं पुष्पं च धूपं तथा
दीपं देव दयानिधे पशुपते हृत्कल्पितं गृह्यताम् ..१..
हे दयानिधे, हे पशुपते, मैंने आपके लिए एक रत्नजड़ित सिहांसन की कल्पना की है, स्नान के लिए हिमालय सम शीतल जल, नाना प्रकार के रत्न जड़ित दिव्य वस्त्र, तथा कस्तुरि, चन्दन, विल्व पत्र एवं जुही, चम्पा इत्यादि पुष्पांजलि तथा धूप-दीप ये सभी मानसिक पूजा उपहार ग्रहण करें।

सौवर्णे नवरत्नखण्डरचिते पात्रे घृतं पायसं
भक्ष्यं पञ्चविधं पयोदधियुतं रम्भाफलं पानकम् .
शाकानामयुतं जलं रुचिकरं कर्पूरखण्डोज्ज्वलं
ताम्बूलं मनसा मया विरचितं भक्त्या प्रभो स्वीकुरु ..२..
हे महादेव, मैंने अपने मन में नवीन रत्नखण्डों से जड़ित स्वर्ण पात्रों में धृतयूक्त खीर, दुध एवं दही युक्त पाँच प्रकार के व्यंजन, रम्भा फल एवं शुद्ध मीठा जल ताम्बुल और कर्पूर से सुगन्धित धुप आपके लिए प्रस्तुत किया है। हे प्रभू मेरी इस भक्ति को स्वीकार करें।

छत्रं चामरयोर्युगं व्यजनकं चादर्शकं निर्मलम्
वीणाभेरिमृदङ्गकाहलकला गीतं च नृत्यं तथा .
साष्टाङ्गं प्रणतिः स्तुतिर्बहुविधा ह्येतत्समस्तं मया
सङ्कल्पेन समर्पितं तव विभो पूजां गृहाण प्रभो ..३..

हे प्रभो! मैंने सकंल्प द्वारा आपके लिए एक छ्त्र, दो चंवर, पंखा एव निर्मल दर्पन की कल्पना की है। आपको साष्टाङ्ग प्रणाम करते हुए, तथा विणा, भेरि एवं मृदङ्ग के साथ गीत, नृत्य एव बहुदा प्रकार की स्तुति प्रस्तुत करता हूँ। हे प्रभो! मेरी इस पूजा को ग्रहण करें।

आत्मा त्वं गिरिजा मतिः सहचराः प्राणाः शरीरं गृहं
पूजा ते विषयोपभोगरचना निद्रा समाधिस्थितिः .
सञ्चारः पदयोः प्रदक्षिणविधिः स्तोत्राणि सर्वा गिरो
यद्यत्कर्म करोमि तत्तदखिलं शम्भो तवाराधनम् .. ४..
हे शम्भों ! आप मेरी आत्मा हैं, माँ भवानी मेरी बुद्धी हैं, मेरी इन्द्रियाँ आपके गण हैं एवं मेरा शरीर आपका गृह है। सम्पुर्ण विषय-भोग की रचना आपकी ही पूजा है। मेरे निद्रा की स्थिति समाधि स्थिति है, मेरा चलना आपकी ही परिक्रमा है, मेरे शब्द आपके ही स्तोत्र हैं। वास्त्व में मैं जो भी करता हूँ वह सब आपकी आराधना ही है।

करचरण कृतं वाक्कायजं कर्मजं वा .
श्रवणनयनजं वा मानसंवापराधम् .
विहितमविहितं वा सर्वमेतत्क्षमस्व .
जय जय करुणाब्धे श्रीमहादेवशम्भो .. ५..
हे प्रभो! मेरे हाथ या पैर द्वारा, कर्म द्वारा, वाक्य या स्रवण द्वारा या मन द्वारा हुए समस्त विहित अथवा अविहित अपराधों को क्षमा करें। हे करूणा मय महादेव सम्भों आपकी सदा जय हो।

.. इति श्रीमच्छङ्कराचार्यविरचिता शिवमानसपूजा समाप्ता..

ब्रह्ममुरारिसुरार्चित लिगं निर्मलभाषितशोभित लिंग |
जन्मजदुःखविनाशक लिंग तत्प्रणमामि सदाशिव लिंगं॥१
मैं उन सदाशिव लिंग को प्रणाम करता हूँ जिनकी ब्रह्मा, विष्णु एवं देवताओं द्वारा अर्चना की जाति है, जो सदैव निर्मल भाषाओं द्वारा पुजित हैं तथा जो लिंग जन्म-मृत्यू के चक्र का विनाश करता है (मोक्ष प्रदान करता है)
देवमुनिप्रवरार्चित लिंगं, कामदहं करुणाकर लिंगं|
रावणदर्पविनाशन लिंगं तत्प्रणमामि सदाशिव लिंगं॥२
देवताओं और मुनियों द्वारा पुजित लिंग, जो काम का दमन करता है तथा करूणामयं शिव का स्वरूप है, जिसने रावण के अभिमान का भी नाश किया, उन सदाशिव लिंग को मैं प्रणाम करता हूँ।
सर्वसुगंन्धिसुलेपित लिंगं, बुद्धिविवर्धनकारण लिंगं|
सिद्धसुरासुरवन्दित लिंगं, तत्प्रणमामि सदाशिव लिंगं॥३
सभी प्रकार के सुगंधित पदार्थों द्वारा सुलेपित लिंग, जो कि बुद्धि का विकास करने वाल है तथा, सिद्ध- सुर (देवताओं) एवं असुरों सबों के लिए वन्दित है, उन सदाशिव लिंक को प्रणाम।
कनकमहामणिभूषित लिंगं, फणिपतिवेष्टितशोभित लिंगं|
दक्षसुयज्ञविनाशन लिंगं, तत्प्रणमामि सदाशिव लिंगं॥४
स्वर्ण एवं महामणियों से विभूषित, एवं सर्पों के स्वामी से शोभित सदाशिव लिंग जो कि दक्ष के यज्ञ का विनाश करने वाल है ; आपको प्रणाम।
कुंकुमचंदनलेपित लिंगं, पंङ्कजहारसुशोभित लिंगं|
संञ्चितपापविनाशिन लिंगं, तत्प्रणमामि सदाशिव लिंगं॥५
कुंकुम एवं चन्दन से शोभायमान, कमल हार से शोभायमान सदाशिव लिंग जो कि सारे संञ्चित पापों से मुक्ति प्रदान करने वाला है, उन सदाशिव लिंग को प्रणाम ।
देवगणार्चितसेवित लिंग, भवैर्भक्तिभिरेवच लिंगं|
दिनकरकोटिप्रभाकर लिंगं, तत्प्रणमामि सदाशिव लिंगं॥६
आप सदाशिव लिंग को प्रणाम जो कि सभी देवों एवं गणों द्वारा शुद्ध विचार एवं भावों द्वारा पुजित है तथा जो करोडों सूर्य सामान प्रकाशित हैं।
अष्टदलोपरिवेष्टित लिंगं, सर्वसमुद्भवकारण लिंगं|
अष्टदरिद्रविनाशित लिंगं, तत्प्रणमामि सदाशिव लिंगं॥७
आठों दलों में मान्य, एवं आठों प्रकार के दरिद्रता का नाश करने वाले सदाशिव लिंग सभी प्रकार के सृजन के परम कारण हैं आप सदाशिव लिंग को प्रणाम।
सुरगुरूसुरवरपूजित लिंगं, सुरवनपुष्पसदार्चित लिंगं|
परात्परं परमात्मक लिंगं, ततप्रणमामि सदाशिव लिंगं||
दवताओं एवं देव गुरू द्वारा स्वर्ग के वाटिका के पुष्पों से पुजित परमात्मा स्वरूप जो कि सभी व्याख्याओं से परे है उन सदाशिव लिंग को प्रणाम।
मांगत दास कर जोरे !! बसहिं रामसिय मानस मोरे !!

शिवसहस्रनामावलि


शिवसहस्रनामावलिः
ॐ स्थिराय नमः ..
ॐ स्थाणवे नमः ..
ॐ प्रभवे नमः ..
ॐ भीमाय नमः ..
ॐ प्रवराय नमः ..
ॐ वरदाय नमः ..
ॐ वराय नमः ..
ॐ सर्वात्मने नमः ..
ॐ सर्वविख्याताय नमः ..
ॐ सर्वस्मै नमः .. १०..
ॐ सर्वकराय नमः ..
ॐ भवाय नमः ..
ॐ जटिने नमः ..
ॐ चर्मिणे नमः ..
ॐ शिखण्डिने नमः ..
ॐ सर्वाङ्गाय नमः ..
ॐ सर्वभावनाय नमः ..
ॐ हराय नमः ..
ॐ हरिणाक्षाय नमः ..
ॐ सर्वभूतहराय नमः .. २०..
ॐ प्रभवे नमः ..
ॐ प्रवृत्तये नमः ..
ॐ निवृत्तये नमः ..
ॐ नियताय नमः ..
ॐ शाश्वताय नमः ..
ॐ ध्रुवाय नमः ..
ॐ श्मशानवासिने नमः ..
ॐ भगवते नमः ..
ॐ खचराय नमः ..
ॐ गोचराय नमः .. ३०..
ॐ अर्दनाय नमः ..
ॐ अभिवाद्याय नमः ..
ॐ महाकर्मणे नमः ..
ॐ तपस्विने नमः ..
ॐ भूतभावनाय नमः ..
ॐ उन्मत्तवेषप्रच्छन्नाय नमः ..
ॐ सर्वलोकप्रजापतये नमः ..
ॐ महारूपाय नमः ..
ॐ महाकायाय नमः ..
ॐ वृषरूपाय नमः .. ४०..
ॐ महायशसे नमः ..
ॐ महात्मने नमः ..
ॐ सर्वभूतात्मने नमः ..
ॐ विश्वरूपाय नमः ..
ॐ महाहणवे नमः ..
ॐ लोकपालाय नमः ..
ॐ अन्तर्हितत्मने नमः ..
ॐ प्रसादाय नमः ..
ॐ हयगर्धभये नमः ..
ॐ पवित्राय नमः .. ५०..
ॐ महते नमः ..
ॐनियमाय नमः ..
ॐ नियमाश्रिताय नमः ..
ॐ सर्वकर्मणे नमः ..
ॐ स्वयंभूताय नमः ..
ॐ आदये नमः ..
ॐ आदिकराय नमः ..
ॐ निधये नमः ..
ॐ सहस्राक्षाय नमः ..
ॐ विशालाक्षाय नमः .. ६०..
ॐ सोमाय नमः ..
ॐ नक्षत्रसाधकाय नमः ..
ॐ चन्द्राय नमः ..
ॐ सूर्याय नमः ..
ॐ शनये नमः ..
ॐ केतवे नमः ..
ॐ ग्रहाय नमः ..
ॐ ग्रहपतये नमः ..
ॐ वराय नमः ..
ॐ अत्रये नमः .. ७०..
ॐ अत्र्या नमस्कर्त्रे नमः ..
ॐ मृगबाणार्पणाय नमः ..
ॐ अनघाय नमः ..
ॐ महातपसे नमः ..
ॐ घोरतपसे नमः ..
ॐ अदीनाय नमः ..
ॐ दीनसाधकाय नमः ..
ॐ संवत्सरकराय नमः ..
ॐ मन्त्राय नमः ..
ॐ प्रमाणाय नमः .. ८०..
ॐ परमायतपसे नमः ..
ॐ योगिने नमः ..
ॐ योज्याय नमः ..
ॐ महाबीजाय नमः ..
ॐ महारेतसे नमः ..
ॐ महाबलाय नमः ..
ॐ सुवर्णरेतसे नमः ..
ॐ सर्व्ज्ञाय नमः ..
ॐ सुबीजाय नमः ..
ॐ बीजवाहनाय नमः .. ९०..
ॐ दशबाहवे नमः ..
ॐ अनिमिशाय नमः ..
ॐ नीलकण्ठाय नमः ..
ॐ उमापतये नमः ..
ॐ विश्वरूपय नमः ..
ॐ स्वयंश्रेष्ठाय नमः ..
ॐ बलवीराय नमः ..
ॐ अबलोगणाय नमः ..
ॐ गणकर्त्रे नमः ..
ॐ गणपतये नमः .. १००.
ॐ दिग्वाससे नमः ..
ॐ कामाय नमः ..
ॐ मन्त्रविदे नमः ..
ॐ परमाय मन्त्राय नमः ..
ॐ सर्वभावकराय नमः ..
ॐ हराय नमः ..
ॐ कमण्डलुधराय नमः ..
ॐ धन्विने नमः ..
ॐ बाणहस्ताय नमः ..
ॐ कपालवते नमः .. ११०..
ॐ अशनये नमः ..
ॐ शतघ्निने नमः ..
ॐ खड्गिने नमः ..
ॐ पट्टिशिने नमः ..
ॐ आयुधिने नमः ..
ॐ महते नमः ..
ॐ स्रुवहस्ताय नमः ..
ॐ सुरूपाय नमः ..
ॐ तेजसे नमः..
ॐ तेजस्कराय निधये नमः .. १२०..
ॐउष्णिशिने नमः ..
ॐ सुवक्त्राय नमः ..
ॐ उदग्राय नमः ..
ॐ विनताय नमः ..
ॐ दीर्घाय नमः ..
ॐ हरिकेशाय नमः ..
ॐ सुतीर्थाय नमः ..
ॐ कृष्णाय नमः ..
ॐ शृगालरूपाय नमः ..
ॐ सिद्धार्थाय नमः .. १३०..
ॐ मुण्डाय नमः ..
ॐ सर्वशुभङ्कराय नमः ..
ॐ अजाय नमः ..
ॐ बहुरूपाय नमः ..
ॐ गन्धधारिणे नमः ..
ॐ कपर्दिने नमः ..
ॐ उर्ध्वरेतसे नमः ..
ॐ ऊर्ध्वलिङ्गाय नमः ..
ॐ ऊर्ध्वशायिने नमः ..
ॐ नभस्थलाय नमः .. १४०..
ॐ त्रिजटिने नमः ..
ॐ चीरवाससे नमः ..
ॐ रुद्राय नमः ..
ॐ सेनापतये नमः ..
ॐ विभवे नमः ..
ॐ अहश्चराय नमः ..
ॐ नक्तंचराय नमः ..
ॐ तिग्ममन्यवे नमः ..
ॐ सुवर्चसाय नमः ..
ॐ गजघ्ने नमः .. १५०..
ॐ दैत्यघ्ने नमः ..
ॐ कालाय नमः ..
ॐ लोकधात्रे नमः ..
ॐ गुणाकराय नमः ..
ॐ सिंहशार्दूलरूपाय नमः ..
ॐ आर्द्रचर्माम्बरावृताय नमः ..
ॐ कालयोगिने नमः ..
ॐ महानादाय नमः ..
ॐ सर्वकामाय नमः ..
ॐ चतुष्पथाय नमः .. १६०..
ॐ निशाचराय नमः ..
ॐ प्रेतचारिणे नमः ..
ॐ भूतचारिणे नमः ..
ॐ महेश्वराय नमः ..
ॐ बहुभूताय नमः ..
ॐ बहुधराय नमः ..
ॐ स्वर्भानवे नमः ..
ॐ अमिताय नमः ..
ॐ गतये नमः ..
ॐ नृत्यप्रियाय नमः .. १७०..
ॐ नित्यनर्ताय नमः ..
ॐ नर्तकाय नमः ..
ॐ सर्वलालसाय नमः ..
ॐ घोराय नमः ..
ॐ महातपसे नमः ..
ॐ पाशाय नमः ..
ॐ नित्याय नमः ..
ॐ गिरिरुहाय नमः ..
ॐ नभसे नमः ..
ॐ सहस्रहस्ताय नमः .. १८०..
ॐविजयाय नमः ..
ॐ व्यवसायाय नमः ..
ॐ अतन्द्रिताय नमः ..
ॐ अधर्षणाय नमः ..
ॐ धर्षणात्मने नमः ..
ॐ यज्ञ्घ्ने नमः ..
ॐ कामनाशकाय नमः ..
ॐ दक्ष्यागपहारिणे नमः ..
ॐ सुसहाय नमः ..
ॐ मध्यमाय नमः .. १९०..
ॐ तेजोपहारिणे नमः ..
ॐ बलघ्ने नमः ..
ॐ मुदिताय नमः ..
ॐ अर्थाय नमः ..
ॐ अजिताय नमः ..
ॐ अवराय नमः ..
ॐ गम्भीरघोषय नमः ..
ॐ गम्भीराय नमः ..
ॐ गम्भीरबलवाहनाय नमः ..
ॐ न्यग्रोधरूपाय नमः .. २००..
ॐ न्यग्रोधाय नमः ..
ॐ वृक्षकर्णस्थिताय नमः ..
ॐ विभवे नमः ..
ॐ सुतीक्ष्णदशनाय नमः ..
ॐ महाकायाय नमः ..
ॐ महाननाय नमः ..
ॐ विश्वक्सेनाय नमः ..
ॐ हरये नमः ..
ॐ यज्ञाय नमः ..
ॐ संयुगापीडवाहनाय नमः .. २१०..
ॐ तीक्षणातापाय नमः ..
ॐ हर्यश्वाय नमः ..
ॐ सहायाय नमः ..
ॐ कर्मकालविदे नमः ..
ॐ विष्णुप्रसादिताय नमः ..
ॐ यज्ञाय नमः ..
ॐ समुद्राय नमः ..
ॐ बडवामुखाय नमः ..
ॐ हुताशनसहायाय नमः ..
ॐ प्रशान्तात्मने नमः .. २२०..
ॐ हुताशनाय नमः ..
ॐ उग्रतेजसे नमः ..
ॐ महातेजसे नमः ..
ॐ जन्याय नमः ..
ॐ विजयकालविदे नमः ..
ॐ ज्योतिषामयनाय नमः ..
ॐ सिद्धये नमः ..
ॐ सर्वविग्रहाय नमः ..
ॐ शिखिने नमः ..
ॐ मुण्डिने नमः .. २३०..
ॐ जटिने नमः ..
ॐ ज्वलिने नमः ..
ॐ मूर्तिजाय नमः ..
ॐ मूर्धजाय नमः ..
ॐ बलिने नमः ..
ॐ वैनविने नमः ..
ॐ पणविने नमः ..
ॐ तालिने नमः ..
ॐ खलिने नमः ..
ॐ कालकटङ्कटाय नमः .. २४०..
ॐ नक्षत्रविग्रहमतये नमः ..
ॐ गुणबुद्धये नमः ..
ॐ लयाय नमः ..
ॐ अगमाय नमः ..
ॐ प्रजापतये नमः ..
ॐ विश्वबाहवे नमः ..
ॐ विभागाय नमः ..
ॐ सर्वगाय नमः ..
ॐ अमुखाय नमः ..
ॐ विमोचनाय नमः .. २५०..
ॐ सुसरणाय नमः ..
ॐ हिरण्यकवचोद्भवाय नमः ..
ॐ मेढ्रजाय नमः ..
ॐ बलचारिणे नमः ..
ॐ महीचारिणे नमः ..
ॐ स्रुताय नमः ..
ॐ सर्वतूर्यविनोदिने नमः ..
ॐ सर्वतोद्यपरिग्रहाय नमः ..
ॐ व्यालरूपाय नमः ..
ॐ गुहावासिने नमः .. २६०..
ॐ गुहाय नमः ..
ॐ मालिने नमः ..
ॐ तरङ्गविदे नमः ..
ॐ त्रिदशाय नमः ..
ॐ त्रिकालधृते नमः ..
ॐ कर्मसर्वबन्धविमोचनाय नमः ..
ॐ असुरेन्द्राणांबन्धनाय नमः ..
ॐ युधि शत्रुविनाशनाय नमः ..
ॐ साङ्ख्यप्रसादाय नमः ..
ॐ दुर्वाससे नमः .. २७०..
ॐ सर्वसाधिनिषेविताय नमः ..
ॐ प्रस्कन्दनाय नमः ..
ॐ विभागज्ञाय नमः ..
ॐ अतुल्याय नमः ..
ॐ यज्ञब्विभागविदे नमः ..
ॐ सर्ववासाय नमः ..
ॐ सर्वचारिणे नमः ..
ॐ दुर्वाससे नमः ..
ॐ वासवाय नमः ..
ॐ अमराय नमः .. २८०..
ॐ हैमाय नमः ..
ॐ हेमकराय नमः ..
ॐ निष्कर्माय नमः ..
ॐ सर्वधारिणे नमः ..
ॐ धरोत्तमाय नमः ..
ॐ लोहिताक्षाय नमः ..
ॐ माक्षाय नमः ..
ॐ विजयक्षाय नमः ..
ॐ विशारदाय नमः ..
ॐ संग्रहाय नमः .. २९०..
ॐ निग्रहाय नमः ..
ॐ कर्त्रे नमः ..
ॐ सर्पचीरनिवासनाय नमः ..
ॐ मुख्याय नमः ..
ॐ अमुख्याय नमः ..
ॐ देहाय नमः ..
ॐ काहलये नमः ..
ॐ सर्वकामदाय नमः ..
ॐ सर्वकालप्रसादये नमः ..
ॐ सुबलाय नमः .. ३००..
ॐ बलरूपधृते नमः ..
ॐ सर्वकामवराय नमः ..
ॐ सर्वदाय नमः ..
ॐ सर्वतोमुखाय नमः ..
ॐ आकाशनिर्विरूपाय नमः ..
ॐ निपातिने नमः ..
ॐ अवशाय नमः ..
ॐ खगाय नमः ..
ॐ रौद्ररूपाय नमः ..
ॐ अंशवे नमः .. ३१०..
ॐ आदित्याय नमः ..
ॐ बहुरश्मये नमः ..
ॐ सुवर्चसिने नमः ..
ॐ वसुवेगाय नमः ..
ॐ महावेगाय नमः ..
ॐ मनोवेगाय नमः ..
ॐ निशाचराय नमः ..
ॐ सर्ववासिने नमः ..
ॐ श्रियावासिने नमः ..
ॐ उपदेशकराय नमः .. ३२०..
ॐ अकराय नमः ..
ॐ मुनये नमः ..
ॐ आत्मनिरालोकाय नमः ..
ॐ सम्भग्नाय नमः ..
ॐ सहस्रदाय नमः ..
ॐ पक्षिणे नमः ..
ॐ पक्षरूपाय नमः ..
ॐ अतिदीप्ताय नमः ..
ॐ विशाम्पतये नमः ..
ॐ उन्मादाय नमः .. ३३०..
ॐ मदनाय नमः ..
ॐ कामाय नमः ..
ॐ अश्वत्थाय नमः ..
ॐ अर्थकराय नमः ..
ॐ यशसे नमः ..
ॐ वामदेवाय नमः ..
ॐ वामाय नमः ..
ॐ प्राचे नमः ..
ॐ दक्षिणाय नमः ..
ॐ वामनाय नमः .. ३४०..
ॐ सिद्धयोगिने नमः ..
ॐ महर्शये नमः ..
ॐ सिद्धार्थाय नमः ..
ॐ सिद्धसाधकाय नमः ..
ॐ भिक्षवे नमः ..
ॐ भिक्षुरूपाय नमः ..
ॐ विपणाय नमः ..
ॐ मृदवे नमः ..
ॐ अव्ययाय नमः ..
ॐ महासेनाय नमः .. ३५०..
ॐ विशाखाय नमः ..
ॐ षष्टिभागाय नमः ..
ॐ गवां पतये नमः ..
ॐ वज्रहस्ताय नमः ..
ॐ विष्कम्भिने नमः ..
ॐ चमूस्तम्भनाय नमः ..
ॐ वृत्तावृत्तकराय नमः ..
ॐ तालाय नमः ..
ॐ मधवे नमः ..
ॐ मधुकलोचनाय नमः .. ३६०..
ॐ वाचस्पत्याय नमः ..
ॐ वाजसेनाय नमः ..
ॐ नित्यमाश्रितपूजिताय नमः ..
ॐ ब्रह्मचारिणे नमः ..
ॐ लोकचारिणे नमः ..
ॐ सर्वचारिणे नमः ..
ॐ विचारविदे नमः ..
ॐ ईशानाय नमः ..
ॐ ईश्वराय नमः ..
ॐ कालाय नमः .. ३७०..
ॐ निशाचारिणे नमः ..
ॐ पिनाकभृते नमः ..
ॐ निमित्तस्थाय नमः ..
ॐ निमित्ताय नमः ..
ॐ नन्दये नमः ..
ॐ नन्दिकराय नमः ..
ॐ हरये नमः ..
ॐ नन्दीश्वरायनमः ..
ॐ नन्दिने नमः ..
ॐ नन्दनाय नमः .. ३८०..
ॐ नन्दिवर्धनाय नमः ..
ॐ भगहारिणे नमः ..
ॐ निहन्त्रे नमः ..
ॐ कलाय नमः ..
ॐ ब्रह्मणे नमः ..
ॐ पितामहाय नमः ..
ॐ चतुर्मुखाय नमः ..
ॐ महालिङ्गाय नमः ..
ॐ चारुलिङ्गाय नमः ..
ॐ लिङ्गाध्याक्षाय नमः .. ३९०..
ॐ सुराध्यक्षाय नमः ..
ॐ योगाध्यक्षाय नमः ..
ॐ युगावहाय नमः ..
ॐ बीजाध्यक्षाय नमः ..
ॐ बीजकर्त्रे नमः ..
ॐ अध्यात्मानुगताय नमः ..
ॐ बलाय नमः ..
ॐ इतिहासाय नमः ..
ॐ सकल्पाय नमः ..
ॐ गौतमाय नमः .. ४००..
ॐ निशाकराय नमः ..
ॐ दम्भाय नमः ..
ॐ अदम्भाय नमः ..
ॐ वैदम्भाय नमः ..
ॐ वश्याय नमः ..
ॐ वशकराय नमः ..
ॐ कलये नमः ..
ॐ लोककर्त्रे नमः ..
ॐ पशुपतये नमः ..
ॐ महाकर्त्रे नमः .. ४१०..
ॐ अनौषधाय नमः ..
ॐ अक्षराय नमः ..
ॐ परमाय ब्रह्मणे नमः ..
ॐ बलवते नमः ..
ॐ शक्राय नमः ..
ॐ नित्यै नमः ..
ॐ अनित्यै नमः ..
ॐ शुद्धात्मने नमः ..
ॐ शुद्धाय नमः ..
ॐ मान्याय नमः .. ४२०..
ॐ गतागताय नमः ..
ॐ बहुप्रसादाय नमः ..
ॐ सुस्वप्नाय नमः ..
ॐ दर्पणाय नमः ..
ॐ अमित्रजिते नमः ..
ॐ वेदकाराय नमः ..
ॐ मन्त्रकाराय नमः ..
ॐ विदुषे नमः ..
ॐ समरमर्दनाय नमः ..
ॐ महामेघनिवासिने नमः .. ४३०..
ॐ महाघोराय नमः ..
ॐ वशिने नमः ..
ॐ कराय नमः ..
ॐ अग्निज्वालाय नमः ..
ॐ महाज्वालाय नमः ..
ॐ अतिधूम्राय नमः ..
ॐ हुताय नमः ..
ॐ हविषे नमः ..
ॐ वृषणाय नमः ..
ॐ शङ्कराय नमः .. ४४०..
ॐ नित्यं वर्चस्विने नमः ..
ॐ धूमकेतनाय नमः ..
ॐ नीलाय नमः ..
ॐ अङ्गलुब्धाय नमः ..
ॐ शोभनाय नमः ..
ॐ निरवग्रहाय नमः ..
ॐ स्वस्तिदाय नमः ..
ॐ स्वस्तिभावाय नमः ..
ॐ भागिने नमः ..
ॐ भागकराय नमः .. ४५०..
ॐ लघवे नमः ..
ॐ उत्सङ्गाय नमः ..
ॐ महाङ्गाय नमः ..
ॐ महगर्भपरायणाय नमः ..
ॐ कृष्णवर्णाय नमः ..
ॐ सुवर्णाय नमः ..
ॐ सर्वदेहिनां इन्द्रियाय नमः ..
ॐ महापादाय नमः ..
ॐ महाहस्ताय नमः ..
ॐ महाकायाय नमः .. ४६०..
ॐ महायशसे नमः ..
ॐ महामूर्ध्ने नमः ..
ॐ महामात्राय नमः ..
ॐ महानेत्राय नमः ..
ॐ निशालयाय नमः ..
ॐ महान्तकाय नमः ..
ॐ महाकर्णाय नमः ..
ॐ महोष्ठाय नमः ..
ॐ महाहणवे नमः ..
ॐ महानासाय नमः .. ४७०..
ॐ महाकम्बवे नमः ..
ॐ महाग्रीवाय नमः ..
ॐ श्मशानभाजे नमः ..
ॐ महावक्षसे नमः ..
ॐ महोरस्काय नमः ..
ॐ अन्तरात्मने नमः ..
ॐ मृगालयाय नमः ..
ॐ लम्बनाय नमः ..
ॐ लम्बितोष्ठाय नमः ..
ॐ महामायाय नमः .. ४८०..
ॐ पयोनिधये नमः ..
ॐ महादन्ताय नमः ..
ॐ महादंश्ट्राय नमः ..
ॐ महजिह्वाय नमः ..
ॐ महामुखाय नमः ..
ॐ महानखाय नमः ..
ॐ महारोमाय नमः ..
ॐ महाकोशाय नमः ..
ॐ महाजटाय नमः ..
ॐ प्रसन्नय नमः .. ४९०..
ॐ प्रसादाय नमः ..
ॐ प्रत्ययाय नमः ..
ॐ गिरिसाधनाय नमः ..
ॐ स्नेहनाय नमः ..
ॐ अस्नेहनाय नमः ..
ॐ अजिताय नमः ..
ॐ महामुनये नमः ..
ॐ वृक्षाकाराय नमः ..
ॐ वृक्षकेतवे नमः ..
ॐ अनलाय नमः .. ५००..
ॐ वायुवाहनाय नमः ..
ॐ गण्डलिने नमः ..
ॐ मेरुधाम्ने नमः ..
ॐ देवाधिपतये नमः ..
ॐ अथर्वशीर्शाय नमः ..
ॐ सामास्याय नमः ..
ॐ ऋक्सहस्रामितेक्षणाय नमः ..
ॐ यजुः पाद भुजाय नमः ..
ॐ गुह्याय नमः ..
ॐ प्रकाशाय नमः .. ५१०..
ॐ जङ्गमाय नमः ..
ॐ अमोघार्थाय नमः ..
ॐ प्रसादाय नमः ..
ॐ अभिगम्याय नमः ..
ॐ सुदर्शनाय नमः ..
ॐ उपकाराय नमः ..
ॐ प्रियाय नमः ..
ॐ सर्वाय नमः ..
ॐ कनकाय नमः ..
ॐ कञ्चनच्छवये नमः .. ५२०..
ॐ नाभये नमः ..
ॐ नन्दिकराय नमः ..
ॐ भावाय नमः ..
ॐ पुष्करस्थापतये नमः ..
ॐ स्थिराय नमः ..
ॐ द्वादशाय नमः ..
ॐ त्रासनाय नमः ..
ॐ आद्याय नमः ..
ॐ यज्ञाय नमः ..
ॐ यज्ञसमाहिताय नमः .. ५३०..
ॐ नक्तं नमः ..
ॐ कलये नमः ..
ॐ कालाय नमः ..
ॐ मकराय नमः ..
ॐ कालपूजिताय नमः ..
ॐ सगणाय नमः ..
ॐ गणकाराय नमः ..
ॐ भूतवाहनसारथये नमः ..
ॐ भस्मशयाय नमः ..
ॐ भस्मगोप्त्रे नमः .. ५४०..
ॐ भस्मभूताय नमः ..
ॐ तरवे नमः ..
ॐ गणाय नमः ..
ॐ लोकपालाय नमः ..
ॐ अलोकाय नमः ..
ॐ महात्मने नमः ..
ॐ सर्वपूजिताय नमः ..
ॐ शुक्लाय नमः ..
ॐ त्रिशुक्लाय नमः ..
ॐ सम्पन्नाय नमः .. ५५०..
ॐ शुचये नमः ..
ॐ भूतनिषेविताय नमः ..
ॐ आश्रमस्थाय नमः ..
ॐ क्रियावस्थाय नमः ..
ॐ विश्वकर्ममतये नमः ..
ॐ वराय नमः ..
ॐ विशालशाखाय नमः ..
ॐ ताम्रोष्ठाय नमः ..
ॐ अम्बुजालाय नमः ..
ॐ सुनिश्चलाय नमः .. ५६०..
ॐ कपिलाय नमः ..
ॐ कपिशाय नमः ..
ॐ शुक्लाय नमः ..
ॐ अयुशे नमः ..
ॐ पराय नमः ..
ॐ अपराय नमः ..
ॐ गन्धर्वाय नमः ..
ॐ अदितये नमः ..
ॐ तार्क्ष्याय नमः ..
ॐ सुविज्ञेयाय नमः .. ५७०..
ॐ सुशारदाय नमः ..
ओम् परश्वधायुधाय नमः ..
ॐ देवाय नमः ..
ॐ अनुकारिणे नमः ..
ॐ सुबान्धवाय नमः ..
ॐ तुम्बवीणाय नमः ..
ॐ महाक्रोधाया नमः ..
ॐ ऊर्ध्वरेतसे नमः ..
ॐ जलेशयाय नमः ..
ॐ उग्राय नमः .. ५८०..
ॐ वशङ्कराय नमः ..
ॐ वंशाय नमः ..
ॐ वंशनादाय नमः ..
ॐ अनिन्दिताय नमः ..
ॐ सर्वाङ्गरूपाय नमः ..
ॐ मायाविने नमः ..
ॐ सुहृदाय नमः ..
ॐ अनिलाय नमः ..
ॐ अनलाय नमः ..
ॐ बन्धनाय नमः .. ५९०..
ॐ बन्धकर्त्रे नमः ..
ॐ सुबन्धनविमोचनाय नमः ..
ॐ सयज्ञारये नमः ..
ॐ सकामारये नमः ..
ॐ महादंश्ट्राय नमः ..
ॐ महायुधाय नमः ..
ॐ बहुधानिन्दिताय नमः ..
ॐ शर्वाय नमः ..
ॐ शङ्कराय नमः ..
ॐ शङ्कराय नमः .. ६००..
ॐ अधनाय नमः ..
ॐ अमरेशाय नमः ..
ॐ महादेवाय नमः ..
ॐ विश्वदेवाय नमः ..
ॐ सुरारिघ्ने नमः ..
ॐ अहिर्बुध्न्याय नमः ..
ॐ अनिलाभाय नमः ..
ॐ चेकितानाय नमः ..
ॐ हविषे नमः ..
ॐ अजैकपाते नमः .. ६१०..
ॐ कापालिने नमः ..
ॐ त्रिशङ्कवे नमः ..
ॐ अजिताय नमः ..
ॐ शिवाय नमः ..
ॐ धन्वन्तरये नमः ..
ॐ धूमकेतवे नमः ..
ॐ स्कन्दाय नमः ..
ॐ वैश्रवणाय नमः ..
ॐ धात्रे नमः ..
ॐ शक्राय नमः .. ६२०..
ॐ विष्णवे नमः ..
ॐ मित्राय नमः ..
ॐ त्वष्ट्रे नमः ..
ॐ धृवाय नमः ..
ॐ धराय नमः ..
ॐ प्रभावाय नमः ..
ॐ सर्वगाय वायवे नमः ..
ॐ अर्यम्ने नमः ..
ॐ सवित्रे नमः ..
ॐ रवये नमः .. ६३०..
ॐ उषङ्गवे नमः ..
ॐ विधात्रे नमः ..
ॐ मान्धात्रे नमः ..
ॐ भूतभावनाय नमः ..
ॐ विभवे नमः ..
ॐ वर्णविभाविने नमः ..
ॐ सर्वकामगुणावहाय नमः ..
ॐ पद्मनाभाय नमः ..
ॐ महागर्भाय नमः ..
ॐ चन्द्रवक्त्राय नमः .. ६४०..
ॐ अनिलाय नमः ..
ॐ अनलाय नमः ..
ॐ बलवते नमः ..
ॐ उपशान्ताय नमः ..
ॐ पुराणाय नमः ..
ॐ पुण्यचञ्चवे नमः ..
ॐ ये नमः ..
ॐ कुरुकर्त्रे नमः ..
ॐ कुरुवासिने नमः ..
ॐ कुरुभूताय नमः .. ६५०..
ॐ गुणौषधाय नमः ..
ॐ सर्वाशयाय नमः ..
ॐ दर्भचारिणे नमः ..
ॐ सर्वेषं प्राणिनां पतये नमः ..
ॐ देवदेवाय नमः ..
ॐ सुखासक्ताय नमः ..
ॐ सते नमः ..
ॐ असते नमः ..
ॐ सर्वरत्नविदे नमः ..
ॐ कैलासगिरिवासिने नमः .. ६६०..
ॐ हिमवद्गिरिसंश्रयाय नमः ..
ॐ कूलहारिणे नमः ..
ॐ कुलकर्त्रे नमः ..
ॐ बहुविद्याय नमः ..
ॐ बहुप्रदाय नमः ..
ॐ वणिजाय नमः ..
ॐ वर्धकिने नमः ..
ॐ वृक्षाय नमः ..
ॐ वकिलाय नमः ..
ॐ चन्दनाय नमः .. ६७०..
ॐ छदाय नमः ..
ॐ सारग्रीवाय नमः ..
ॐ महाजत्रवे नमः ..
ॐ अलोलाय नमः ..
ॐ महौषधाय नमः ..
ॐ सिद्धार्थकारिणे नमः ..
ॐ सिद्धार्थश्छन्दोव्याकरणोत्तराय नमः ..
ॐ सिंहनादाय नमः ..
ॐ सिंहदंष्ट्राय नमः ..
ॐ सिंहगाय नमः .. ६८०..
ॐ सिंहवाहनाय नमः ..
ॐ प्रभ्हावात्मने नमः ..
ॐ जगत्कालस्थालाय नमः ..
ॐ लिकहिताय नमः ..
ॐ तरवे नमः ..
ॐ सारञ्गाय नमः ..
ॐ नवचक्राङ्गाय नमः ..
ॐ केतुमालिने नमः ..
ॐ सभावनाय नमः ..
ॐ भूतालयाय नमः .. ६९०..
ॐ भूतपतये नमः ..
ॐ अहोरात्राय नमः ..
ॐ अनिन्दिताय नमः ..
ॐ सर्वभूतानां वाहित्रे नमः ..
ॐ निलयाय नमः ..
ॐ विभवे नमः ..
ॐ भवाय नमः ..
ॐ अमोघाय नमः ..
ॐ संयताय नमः ..
ॐ अश्वाय नमः .. ७००..
ॐ भोजनाय नमः ..
ॐ प्राणधारणाय नमः ..
ॐ धृतिमते नमः ..
ॐ मतिमते नमः ..
ॐ दक्षाय नमः ..
ॐ सत्कृताय नमः ..
ॐ युगाधिपाय नमः ..
ॐ गोपालये नमः ..
ॐ गोपतये नमः ..
ॐ ग्रामाय नमः ..
ॐ गोचर्मवसनाय नमः ..
ॐ हरये नमः ..
ॐ हिरण्यबाहवे नमः ..
ॐ प्रवेशिनां गुहापालाय नमः ..
ॐ प्रकृष्टारये नमः ..
ॐ महाहर्शाय नमः ..
ॐ जितकामाय नमः ..
ॐ जितेन्द्रियाय नमः ..
ॐ गान्धाराय नमः ..
ॐ सुवासाय नमः .. ७२०..
ॐ तपस्सक्ताय नमः ..
.ॐ रतये नमः ..
ॐ नराय नमः ..
ॐ महागीताय नमः ..
ॐ महानृत्याय नमः ..
ॐ अप्सरोगणसेविताय नमः ..
ॐ महाकेतवे नमः ..
ॐ महाधातवे नमः ..
ॐ नैकसानुचराय नमः ..
ॐ चलाय नमः .. ७३०..
ॐ आवेदनीयाय नमः ..
ॐ आदेशाय नमः ..
ॐ सर्वगन्धसुखाहवाय नमः ..
ॐ तोरणाय नमः ..
ॐ तारणाय नमः ..
ॐ वाताय नमः ..
ॐ परिधीने नमः ..
ॐ पतिखेचराय नमः ..
ॐ संयोगाय वर्धनाय नमः ..
ॐ वृद्धाय नमः .. ७४०..
ॐ अतिवृद्धाय नमः ..
ॐ गुणाधिकाय नमः ..
ॐ नित्यमात्मसहायाय नमः ..
ॐ देवासुरपतये नमः ..
ॐ पतये नमः ..
ॐ युक्ताय नमः ..
ॐ युक्तबाहवे नमः ..
ॐ दिविसुपर्णोदेवाया नमः ..
ॐ आषाढाय नमः ..
ॐ सुषाढाय नमः .. ७५०..
ॐ ध्रुवाय नमः ..
ॐ हरिणाय नमः ..
ॐ हराय नमः ..
ॐ आवर्तमानेभ्योवपुषे नमः ..
ॐ वसुश्रेष्ठाय नमः ..
ॐ महापथाय नमः ..
ॐ शिरोहारिणे नमः ..
ॐ सर्वकक्षणलक्षिताय नमः ..
ॐ अक्षाय रथयोगिने नमः ..
ॐ सर्वयोगिने नमः .. ७६०..
ॐ महाबलाय नमः ..
ॐ समाम्नायाय नमः ..
ॐ अस्माम्नायाय नमः ..
ॐ तीर्थदेवाय नमः ..
ॐ महारथाय नमः ..
ॐ निर्जीवाय नमः ..
ॐ जीवनाय नमः ..
ॐ मन्त्राय नमः ..
ॐ शुभाक्षाय नमः ..
ॐ बहुकर्कशाय नमः .. ७७०..
ॐ रत्नप्रभूताय नमः ..
ॐ रत्नाङ्गाय नमः ..
ॐ महार्णवनिपानविदे नमः ..
ॐ मूलाय नमः ..
ॐ विशालाय नमः ..
ॐ अमृताय नमः ..
ॐ व्यक्ताव्यक्ताय नमः ..
ॐ तपोनिधये नमः ..
ॐ आरोहणाय नमः ..
ॐ अधिरोहाय नमः .. ७८०..
ॐ शीलधारिणे नमः ..
ॐ महायशसे नमः ..
ॐ सेनाकल्पाय नमः ..
ॐ महाकाल्पाय नमः ..
ॐ योगाय नमः ..
ॐ युगकराय नमः ..
ॐ हरये नमः ..
ॐ युगरूपाय नमः ..
ॐ महारूपाय नमः ..
ॐ महानागहनाय नमः .. ७९०..
ॐ वधाय नमः ..
ॐ न्यायनिर्वपणाय नमः ..
ॐ पादाय नमः ..
ॐ पण्डिताय नमः ..
ॐ अचलोपमाय नमः ..
ॐ बहुमालाय नमः ..
ॐ महामालाय नमः ..
ॐ शशिने हरसुलोचनाय नमः ..
ॐ विस्ताराय लवणाय कूपाय नमः ..
ॐ त्रियुगाय नमः .. ८००..
ॐ सफलोदयाय नमः ..
ॐ त्रिलोचनाय नमः ..
ॐ विषण्णाङ्गय नमः ..
ॐ मणिविद्धाय नमः ..
ॐ जटाधराय नमः ..
ॐ बिन्दवे नमः ..
ॐ विसर्गाय नमः ..
ॐ सुमुखाय नमः ..
ॐ शराय नमः ..
ॐ सर्वायुधाय नमः .. ८१०..
ॐ सहाय नमः ..
ॐ निवेदनाय नमः ..
ॐ सुखाजाताय नमः ..
ॐ सुगन्धाराय नमः .
ॐ महाधनुषे नमः ..
ॐ गन्धपालिने भगवते नमः ..
ॐ सर्वकर्मणां उत्थानाय नमः ..
ॐ मन्थानाय बहुलवायवे नमः ..
ॐ सकलाय नमः ..
ॐ सर्वलोचनाय नमः .. ८२०..
ॐ तलस्तालाय नमः ..
ॐ करस्थालिने नमः ..
ॐ ऊर्ध्वसंहननाय नमः ..
ॐ महते नमः ..
ॐ छत्राय नमः ..
ॐ सुछत्राय नमः ..
ॐ विरव्यातलोकाय नमः ..
ॐ सर्वाश्रयाय क्रमाय नमः ..
ॐ मुण्डाय नमः ..
ॐ विरूपाय नमः .. ८३०..
ॐ विकृताय नमः ..
ॐ दण्डिने नमः ..
ॐ कुण्डिने नमः ..
ॐ विकुर्वणाय नमः ..
ॐ हर्यक्षाय नमः ..
ॐ ककुभाय नमः ..
ॐ वज्रिणे नमः ..
ॐ शतजिह्वाय नमः ..
ॐ सहस्रपादे नमः ..
ॐ सहस्रमुर्ध्ने नमः .. ८४०..
ॐ देवेन्द्राय सर्वदेवमयाय नमः ..
ॐ गुरवे नमः ..
ॐ सहस्रबाहवे नमः ..
ॐ सर्वाङ्गाय नमः ..
ॐ शरण्याय नमः ..
ॐ सर्वलोककृते नमः ..
ॐ पवित्राय नमः ..
ॐ त्रिककुडे मन्त्रय नमः ..
ॐ कनिष्ठाय नमः ..
ॐ कृष्णपिङ्गलाय नमः .. ८५०..
ॐ ब्रह्मदण्डविनिर्मात्रे नमः ..
ॐ शतघ्नीपाश शक्तिमते नमः .
ॐ पद्मगर्भाय नमः ..
ॐ महागर्भाय नमः ..
ॐ ब्रह्मगर्भाय नमः ..
ॐ जलोद्भवाय नमः ..
ॐ गभस्तये नमः ..
ॐ ब्रह्मकृते नमः ..
ॐ ब्रह्मिणे नमः ..
ॐ ब्रह्मविदे नमः .. ८६०..
ॐ ब्राह्मणाय नमः ..
ॐ गतये नमः ..
ॐ अनन्तरूपाय नमः ..
ॐ नैकात्मने नमः ..
ॐ स्वयंभुव तिग्मतेजसे नमः ..
ॐ ऊर्ध्वगात्मने नमः ..
ॐ पशुपतये नमः ..
ॐ वातरंहाय नमः ..
ॐ मनोजवाय नमः ..
ॐ चन्दनिने नमः .. ८७०..
ॐ पद्मनालाग्राय नमः ..
ॐ सुरभ्युत्तरणाय नमः ..
ॐ नराय नमः ..
ॐ कर्णिकारमहास्रग्विणे नमः ..
ॐ नीलमौलये नमः ..
ॐ पिनाकधृते नमः ..
ॐ उमापतये नमः ..
ॐ उमाकान्ताय नमः ..
ॐ जाह्नवीभृते नमः ..
ॐ उमाधवाय नमः ..
ॐ वराय वराहाय नमः ..
ॐ वरदाय नमः ..
ॐ वरेण्याय नमः ..
ॐ सुमहास्वनाय नमः ..
ॐ महाप्रसादाय नमः ..
ॐ दमनाय नमः ..
ॐ शत्रुघ्ने नमः ..
ॐ श्वेतपिङ्गलाय नमः ..
ॐ प्रीतात्मने नमः ..
ॐ परमात्मने नमः .. ८९०..
ॐ प्रयतात्माने नमः ..
ॐ प्रधानधृते नमः ..
ॐ सर्वपार्श्वमुखाय नमः ..
ॐ त्र्यक्षाय नमः ..
ॐ धर्मसाधारणो वराय नमः ..
ॐ चराचरात्मने नमः ..
ॐ सूक्ष्मात्मने नमः ..
ॐ अमृताय गोवृषेश्वराय नमः ..
ॐ साध्यर्षये नमः ..
ॐ वसुरादित्याय नमः .. ९००..
ॐ विवस्वते सवितामृताय नमः ..
ॐ व्यासाय नमः ..
ॐ सर्गाय सुसंक्षेपाय विस्तराय नमः ..
ॐ पर्यायोनराय  नमः ..
ॐ ऋतवे नमः ..
ॐ संवत्सराय नमः ..
ॐ मासाय नमः ..
ॐ पक्षाय नमः ..
ॐ सङ्ख्यासमापनाय नमः ..
ॐ कलाभ्यो नमः .. ९१०..
ॐ काष्ठाभ्यो नमः ..
ॐ लवेभ्यो नमः ..
ॐ मात्राभ्यो नमः ..
ॐ मुहूर्ताहः क्षपाभ्यो नमः ..
ॐ क्षणेभ्यो नमः ..
ॐ विश्वक्षेत्राय नमः ..
ॐ प्रजाबीजाय नमः ..
ॐ लिङ्गाय नमः ..
ॐ आद्याय निर्गमाय नमः ..
ॐ सते नमः .. ९२०..
ॐ असते नमः ..
ॐ व्यक्ताय नमः ..
ॐ अव्यक्ताय नमः ..
ॐ पित्र नमः ..
ॐ मात्रे नमः ..
ॐ पितामहाय नमः ..
ॐ स्वर्गद्वाराय नमः ..
ॐ प्रजाद्वाराय नमः ..
ॐ मोक्षद्वाराय नमः ..
ॐ त्रिविष्टपाय नमः .. ९३०..
ॐ निर्वाणाय नमः ..
ॐ ह्लादनाय नमः ..
ॐ ब्रह्मलोकाय नमः ..
ॐ परायै गत्यै नमः ..
ॐ देवासुर विनिर्मात्रे नमः ..
ॐ देवसुरपरायणाय नमः ..
ॐ देवासुरगुरवे नमः ..
ॐ देव्वाय नमः ..
ॐ देवासुर नमस्कृताय नमः ..
ॐ देवासुर महामात्राय नमः .. ९४०..
ॐ देवासुर गणाश्रयाय नमः ..
ॐ देवासुर गणाध्याक्षाय नमः ..
ॐ देवासुर गणागृण्यै नमः ..
ॐ देवातिदेवाय नमः ..
ॐ देवर्शये नमः ..
ॐ देवासुरवरप्रदाय नमः ..
ॐ देवासुरेश्वराय नमः ..
ॐ विश्वाय नमः ..
ॐ देवासुरमहेश्वराय नमः ..
ॐ सर्वदेवमयाय नमः .. ९५०..
ॐ अचिन्त्याय नमः ..
ॐ देवतात्मने नमः ..
ॐ आत्मस्ंभवाय नमः ..
ॐ उद्भिदे नमः ..
ॐ त्रिविक्रमाय नमः ..
ॐ वैद्याय नमः ..
ॐ विरजाय नमः ..
ॐ नीरजाय नमः ..
ॐ अमराय नमः ..
ॐ ईड्याय नमः .. ९६०..
ॐ हस्तीश्वराय नमः ..
ॐ व्यघ्राय नमः ..
ॐ देवसिंहाय नमः ..
ॐ नरऋषभाय नमः ..
ॐ विबुधाय नमः ..
ॐ अग्रवराय नमः ..
ॐ सूक्ष्माय नमः ..
ॐ सर्वदेवाय नमः ..
ॐ तपोमयाय नमः ..
ॐ सुयुक्ताय नमः .. ९७०..
ॐ शिभनाय नमः ..
ॐ वज्रिणे नमः ..
ॐ प्रासानां प्रभवाय नमः ..
ॐ अव्ययाय नमः ..
ॐ गुहाय नमः ..
ॐ कान्ताय नमः ..
ॐ निजाय सर्गाय नमः ..
ॐ पवित्राय नमः ..
ॐ सर्वपावनाय नमः ..
ॐ शृङ्गिणे नमः .. ९८०..
ॐ शृङ्गप्रियाय नमः ..
ॐ बभ्रुवे नमः ..
ॐ राजराजाय नमः ..
ॐ निरामयाय नमः ..
ॐ अभिरामाय नमः ..
ॐ सुरगणाय नमः ..
ॐ विरामाय नमः ..
ॐ सर्वसाधनाय नमः ..
ॐ ललाटक्षाय नमः ..
ॐ विश्वदेवाय नमः .. ९९०..
ॐ हरिणाय नमः ..
ॐ ब्रह्मवर्चसाय नमः ..
ॐ स्थावराणां पतये नमः ..
ॐ नियमेन्द्रियवर्धनाय नमः ..
ॐ सिद्धार्थाय नमः ..
ॐ सिद्धभूतार्थाय नमः..
ॐ अचिन्त्याय नमः ..
ॐ सत्यव्रताय नमः ..
ॐ शुचये नमः ..
ॐ व्रताधिपाय नमः .. १०००..
ॐ परस्मै नमः ..
ॐ ब्रह्मणे नमः ..
ॐ भक्तानां परमायै गतये नमः ..
ॐ विमुक्ताय नमः ..
ॐ मुक्ततेजसे नमः ..
ॐ श्रीमते नमः ..
ॐ श्रीवर्धनाय नमः ..
ॐ जगते नमः .. १००८..
इति शिवसहस्रनामावलिः शिवार्पणम् ..
.. ॐ तत्सत् ..